बालाघाट की संजु नगपुरे, जो "ड्रोन दीदी" के नाम से मशहूर हैं, महिला सशक्तिकरण की बेहतरीन मिसाल पेश करती हैं. जैविक खेती में मास्टर ट्रेनर बनने के बाद, उन्होंने 2024 में ड्रोन उड़ाने की ट्रेनिंग ली और अब किसानों को कृषि विशेषज्ञों से जोड़ने का काम कर रही हैं.
बालाघाट. जिले के कोहकाडीबर गांव की ड्रोन दीदी इन दिनों चर्चा में है. दरअसल, ड्रोन दीदी कहलाने वाली संजु नगपुरे को 26 जनवरी को हुई गणतंत्र दिवस के कार्यक्रम में विशेष अतिथि के तौर पर शामिल किया गया है. संजु न सिर्फ बेहतरीन किसान है बल्कि महिला सशक्तिकरण की शानदार मिसाल है. देखिए लोकल 18 पर संजु नगपुरे की पूरी कहानी…
संजु नगपुरे ने लोकल 18 को बताया कि वह पहले से ही खेती किसानी का काम कर रही थी. लेकिन साल 2017 में वह कृषि सखी बनी. इस दौरान खुद भी आधुनिक और जैविक खेती के बारे सीखती रही. इसके लिए उन्होंने इंदौर और उत्तरप्रदेश में जाकर ट्रेनिंग भी ली. इसके साथ उन्होंने अलग-अलग जगह जाकर दूसरे किसानों को ट्रेनिंग भी दी. अब वह जैविक खेती की मास्टर ट्रेनर बन चुकी हैं. अब तक वह 13 सौ से ज्यादा महिलाओं को जैविक खेती की ट्रेनिंग दे चुकी है. अब भी लगातार उनका सफर जारी है.
2024 में लिया ड्रोन उड़ाने का प्रशिक्षण
संजू नागपुरे ने बीते साल 2024 में ही ड्रोन उड़ाने की ट्रेनिंग ली थी. अब वह ड्रोन पायलट भी है. ऐसे में उन्हें भारत सरकार के उर्वरक विभाग से पुरस्कार भी मिला और वह ड्रोन दीदी बन गई. वह कोहकाडीबर गांव की ‘सरस्वती’ महिला स्वयं सहायता समूह की सदस्य हैं इसके अलावा वह रिलायंस फाउंडेशन के डिजिटल फार्म स्कूल (डीएफएस) से भी जुड़ी. इसके माध्यम से वह किसानों को निर्णय लेने की जानकारी देता है, सीखने की सुविधा प्रदान करता है और उन्हें कृषि विशेषज्ञों से जोड़ता है.
गणतंत्र दिवस कार्यक्रम में रही विशेष अतिथि
बालाघाट जिले के कोहका डीबर गांव की ड्रोन दीदी संजु नगपुरे को गणतंत्र दिवस के मौके पर बतौर विशेष अतिथि के तौर पर आमंत्रित किया जा चुका है. इस पर उनका कहना है कि यह उनके लिए बेहद गर्व की बात है. संजु नगपुरे न सिर्फ आत्मनिर्भरता कीी मिशाल है बल्कि महिला सशक्तिकरण की बेहतरीन मिसाल है.
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